चाल और वेग,वेग: किसी वस्तु के विस्थापन की दर को वेग या किसी वस्तु द्वारा जो निश्चित दिशा में तय किया गया दुरी होता है । वह वेग के अंतर्गत आता है । वेग कौन सी राशि है । तो इसका जवाब होगा की वेग एक सदिश राशि है । जिसका S.I मात्रक मीटर प्रति सेकंड माना जाता है ।
वेग= विस्थापन/ समय
त्वरण की परिभाषा :
जब वेग में परिवर्तन होता है । इस प्रकार के परिवर्तन की दर को त्वरण कहाँ जाता है । त्वरण को हमेशा a से सूचित किया जाता है ।
वेग का प्रकार :
वेग चार प्रकार के होते है, जिसका नाम निम्न है :-
(i) एक सामान वेग
(ii) परिवर्ती वेग
(iii) औसत वेग
(iv) तात्क्षणिक वेग
(i) एक सामान वेग :- जब किसी वस्तु द्वारा एक सामान समय अंतराल में, जब विस्थापन एक सामान होता है । चाहे समय अंतराल छोटा या बड़ा हो । इस प्रकार के वेग को एक सामान वेग कहाँ जाता है ।
(ii) परिवर्ती वेग :- जब कोई भी वस्तु असमान विस्थापन सामान समय अंतराल में तय करे । इस प्रकार के वेग को परिवर्ती वेग कहाँ जाता है ।
(iii) औसत वेग :- जब किसी भी समय अंतराल में वस्तु के कुल विस्थापन एंव समय अंतराल के अनुपात को औसत कह सकते है ।
(iv) तात्क्षणिक वेग :- जब परिवर्ती वेग में कभी विशेष वेग उत्पन्न हो जाता है । इस प्रकार के वेग को तात्क्षणिक वेग कहाँ जाता है ।
चाल और वेग: चाल एंव वेग में अंतर :
चाल एंव वेग में निम्नलिखित अंतर है :-
चाल | वेग | |
1. | चाल एक अदिश राशि है । | वेग एक सदिश राशि है । |
2. | एकांक समय में तय की दुरी को चाल कहा जाता है । | एकांक समय में, निश्चित दिशा में तय की गई दुरी को वेग कहा जाता है । |
3. | किसी भी वस्तु की चाल उस वस्तु के वेग के बराबर या उससे अधिक भी हो सकता है । | किसी भी वस्तु का वेग , उस वस्तु के चाल के बराबर या उससे कम हो सकता है । |
4. | इसका दिशा निश्चित नहीं होता है | इसका दिशा निश्चित होता है । |
5. | चाल को मापने के लिए दुरी पार्टी समय के अनुसार मापा जाता है । | वेग को मापने के लिए विस्थापन प्रति नियमानुसार मापा जाता है । |
6. | चाल= दुरी/ समय | वेग = विस्थापन/ समय |
औसत चाल तथा औसत वेग में अंतर :
औसत चाल तथा औसत वेग में निम्न अंतर है । जिसे टेबल में दर्शाये हुए है :-
औसत चाल | औसत वेग |
यह एक अदिश राशि होता है । | यह एक सदिश राशि होता है । |
जब कोई वस्तु गतिशील रहता है । तो उसका चाल कभी भी ऋणात्मक तथा शून्य नहीं हो सकता है । | जबकि औसत वेग ऋणात्मक तथा शून्य हो सकता है । |
जब गतिशील वस्तु अपने प्रारम्भिक स्थिति में पुनः आ जाता है । तो औसत चाल कभी भी शून्य नहीं हो सकता है । अर्थात नियत रहता है । | जब गतिशील वस्तु अपने प्रारम्भिक स्थिति में पुनः आ जाता है । तो इसका औसत वेग शून्य हो जाता है । |
औसत चाल के कई मान हो सकता है । यह तय की गई सरके पर निर्भर करता है । | दिए गए समय अंतराल के लिए केवल एक ही मान होता है । |
तात्क्षणिक चाल तथा तात्क्षणिक वेग में अंतर :
तात्क्षणिक चाल तथा तात्क्षणिक वेग में निम्नलिखित अंतर है, जो निम्न है :-
(i) तात्क्षणिक वेग का परिमाण, तात्क्षणिक चाल के बराबर होता है ।
(ii) जब कोई वस्तु एक निश्चित गति से चलना प्रारम्भ करता है । तव उस वस्तु का वेग तथा तात्क्षणिक वेग एक सामान होता है ।
(iii) तात्क्षणिक वेग हमेशा वस्तु द्वारा जिस पथ पर दुरी तय किया जाता है । उस पथ की स्पर्शीय रेखीय दिशा होती है ।
चाल और वेग:विस्थापन क्या होता है?
दो स्थानों के बीच की न्यूनतम दुरी को विस्थापन कहाँ जाता है । चाहे दो स्थानों के बीच में जाने का कोई रास्ता रहे या न रहे इससे कोई लेना देना नहीं होता है । इसका सिंपल परिभाषा यही होता है । वैसा दुरी जो दो स्थानों के बीच की सबसे कम दुरी होती है । इस प्रकार की दुरी को विस्थापन के अंतर्गत रखा जाता है ।
दुरी एंव विस्थापन में अंतर :
दुरी एंव विस्थापन में निम्नलिखित अंतर है :-
दुरी | विस्थापन |
किसी गतिमान पिंड द्वारा निश्चित समय में तय की गई मार्ग को दुरी कहाँ जाता है । | किसी पिंड द्वारा निश्चित दिशा में तय की गई सबसे न्यूनतम दुरी को विस्थापन कहाँ जाता है । |
किसी पिंड द्वारा तय किये गए मार्ग पर दुरी निर्भर करता है । | किसी पिंड द्वारा तय किये गए मार्ग पर विस्थापन निर्भर नहीं करता है । |
दुरी एक अदिश राशि है । | विस्थापन एक सदिश राशि है । |
दुरी हमेशा धनात्मक होती है । | विस्थापन निश्चित नहीं रहता है । अर्थात विस्थापन कभी धनात्मक, कभी ऋणात्मक तथा कभी शुन्य भी हो जाता है । |
दुरी विस्थापन के परिणाम के बराबर तथा उससे अधिक भी होता है ।
|
विस्थापन का परिणाम दुरी के बराबर या उससे छोटा भी होता है । |
गति एंव वेग में अंतर
गति एंव वेग में निम्न अंतर है :-
गति | वेग | |
1. | यह एक अदिश राशि होता है । | यह एक सदिश राशि होता है । |
2. | यह हमेशा केवल परिमाप को मापति है । | यह परिमाप तथा दिशा दोनों को मापति है |
3. | गति दुरी परिवर्तन की दर को गणना करती है । | यह परिमाण तथा विस्थापन दोनों के वेग की परिमाण की गणना करती है । |
4. |
निष्कर्ष : दोस्तों इस ब्लॉग में हमने चाल और वेग ,वेग, वेग की प्रकार, त्वरण, औसत चाल एंव औसत वेग में अंतर तथा तात्क्षणिक चाल एंव तात्क्षणिक वेग में अंतर इत्यादि के बारे में बताने की कोशिस किये है । यदि इस जानकारी को पढ़ने के बाद किसी भी प्रकार की क्वेश्चन बनती है ।
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